राष्ट्रीय सांख्यिकी 16 वां दिवस मनाया गया
एम. ए. हक
सांख्यिकी के बिना आर्थिक नियोजन की कल्पना नहीं की जा सकती- डीएसटीओ
सांख्यिकी से आशय मात्र आंकड़ो से नहीं बल्कि इसमें सांख्यिकीय प्रसंस्करण प्रक्रिया के हर चरण की सांख्यिकी विधियां रहते हैं शामिल- डीएसटीओ
कुशीनगर: दिनांक 29 जून 2022 को 16वां राष्ट्रीय सांख्यकीय दिवस के व महान संख्याविद प्रशांत चंद्र महालनोबिस की 129 वी जयंती के अवसर पर आज जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी कुशीनगर डॉक्टर मोहम्मद नासेह की अध्यक्षता में जिला अर्थ एवं संख्या कार्यालय कुशीनगर में सांख्यिकी दिवस का आयोजन किया गया इस अवसर पर जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी ने प्रशांत चंद्र महालनोबिस की भूमिका के बारे में बताते हुए कहा कि इस दिवस को मनाने का उद्देश्य सामाजिक आर्थिक नियोजन और नीति निर्धारण में प्रो0 महालनोबिस की भूमिका के बारे में जनता में जागरूकता जगाना और उन्हें प्रेरित करना है। उन्होंने बताया कि जीडीपी राष्ट्रीय उत्पादन में वृद्धि को ही आर्थिक विकास मान लेना सही नहीं है।आर्थिक विकास के लिए राष्ट्रीय उत्पादन में वृद्धि आवश्यक तो है किंतु मात्र उत्पादन वृद्धि ही आर्थिक विकास है नहीं है। व्यक्ति व परिवार के भोजन, वस्त्र, आवास, प्राथमिक स्वास्थ्य एवं बच्चों को स्कूली शिक्षा इन 05 मूलभूत आवश्यकताओं की उपलब्धता के स्तर में वृद्धि अर्थात जीवन स्तर की गुणवत्ता में सुधार को आर्थिक विकास माना जाता है। उन्होंने कहा कि आर्थिक विकास हेतु आर्थिक नियोजन या सरकार द्वारा अभिशासन के साथ योजनाबद्ध प्रयासों की आवश्यकता होती है। जिस प्रकार से निर्मित वस्तु के उत्पादन के लिए कच्चे माल की आवश्यकता होती है उसी प्रकार आर्थिक नियोजन हेतु सांख्यिकी की आवश्यकता होती है। आर्थिक नियोजन की प्रक्रिया के 05 विभिन्न चरणों का उल्लेख करते हुए उन्होंने बताया कि आर्थिक नियोजन के प्रत्येक चरण के अध्ययन एवं लक्ष्य निर्धारण सांख्यिकी के प्रयोग से ही संभव हो पाता है। उन्होनें कहा कि सांख्यिकी से आशय मात्र आंकड़ों से ही नहीं होता बल्कि इसमें सांख्यिकी प्रसंस्करण प्रक्रिया के हर चरण की सांख्यिकी विधियां शामिल रहती हैं। इस अवसर पर अपर सांख्यिकी अधिकारी सागर कुमार, सत्येंद्र यादव, प्रमोद कुमार सिंह, रामकृपाल दीक्षित, अपर सहायक सांख्यिकी अधिकारी अरविंद कुमार गुप्ता तथा भुवनेश सिंह,अमित कुमार शर्मा, उपहार गुप्ता, कीर्तिमान, अभय पटेल आदि उपस्थित थे।
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